पणजी /खुशबू पाण्डेय : केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग सिंह ठाकुर आज यहां भारत के 54वें अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव का शुभारंभ किया। इस मौके पर फिल्म अभिनेत्री माधुरी दीक्षित को एक शानदार ट्रिब्यूट देते हुए उन्हें ‘भारतीय सिनेमा में योगदान के लिए विशेष मान्यता’ पुरस्कार से सम्मानित किया। इसके अलावा अनुराग ठाकुर ने आईएफएफआई के इस संस्करण में पुरस्कारों की एक नई श्रेणी- सर्वश्रेष्ठ वेब सीरीज (ओटीटी) श्रेणी- शुरू करने की भी घोषणा की। साथ ही हॉलीवुड अभिनेता एवं निर्माता माइकल डगलस को 2023 के लिए प्रतिष्ठित सत्यजीत रे लाइफटाइम अचीवमेंट अवार्ड दिया जाएगा, इसका ऐलान भी किया।
—फिल्म अभिनेत्री माधुरी दीक्षित भारतीय सिनेमा में योगदान के लिए विशेष मान्यता’ पुरस्कार से सम्मानित
—75 क्रिएटिव माइंड्स ऑफ टुमारो’ के लिए भर्ती अभियान की घोषणा
—54वें आईएफएफआई के लिए समावेशिता, मार्गदर्शक भावना बनी हुई है : ठाकुर
—आईएफएफआई में 40 उल्लेखनीय महिला फिल्मकारों की फिल्में प्रदर्शित की जाएंगी : अनुराग ठाकुर
—भारत के 54वें अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव का शुभारंभ, दिग्गज हस्तियां मौजूद
इस मौके पर उन्होंने कहा कि भारत, देश में विदेशी फिल्म बनाने के लिए प्रोत्साहन देगा। इसके लिए फिल्म निर्माण में जो खर्च आएगा, उसमें प्रोत्साहन राशि 40 प्रतिशत तक बढ़ाई जाएगी। इसकी अधिकतम सीमा 30 करोड़ रुपये (3.5 मिलियन अमेरिकी डॉलर से अधिक) होगी, जिसमें उल्लेखनीय भारतीय विषयवस्तु के लिए पांच प्रतिशत का अतिरिक्त बोनस शामिल होगा।
ठाकुर ने कहा कि भारत के आकार और विशाल क्षमता को देखते हुए देश में मध्यम व बड़े बजट की अंतर्राष्ट्रीय परियोजनाओं को आकर्षित करने के लिए उच्च प्रोत्साहन की आवश्यकता है। उन्होंने कहा, फिल्म निर्माण को प्रोत्साहित करने में यह आदर्श बदलाव कलात्मक अभिव्यक्ति के लिए भारत की प्रतिबद्धता और समर्थन के प्रमाण के रूप में कार्य करता है तथा सिनेमाई प्रयासों के लिए पसंदीदा गंतव्य-स्थल के रूप में हमारी स्थिति को मजबूत करता है।
केंद्रीय मंत्री ने उन युवा मेधाओं के लिए एक भर्ती अभियान की भी घोषणा की, जिन्हें ’75 क्रिएटिव माइंड्स ऑफ टुमॉरो’ के लिए चुना गया था। इसके जरिये युवा मेधाओं की उदीयमान प्रतिभा और करियर के लिए असीमित अवसरों के द्वार खुल गए हैं। 75 क्रिएटिव माइंड्स ऑफ टुमारो’, जो अब अपने तीसरे संस्करण में है, उसकी शुरुआत 2021 में प्रधानमंत्री की परिकल्पना से हुई थी, ताकि युवाओं को सिनेमा के माध्यम से अपनी रचनात्मक अभिव्यक्ति प्रदर्शित करने के लिए एक मंच प्रदान किया जा सके। इस साल, 10 श्रेणियों में लगभग 600 प्रविष्टियों में से, 19 राज्यों से 75 युवा फिल्म निर्माताओं को चुना गया है, जिनमें बिष्णुपुर, जगतसिंहपुर और सदरपुर जैसे दूरदराज के इलाके भी शामिल हैं।
40 महिला फिल्म निर्माताओं की फिल्में शामिल होंगी
केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने महिला सशक्तिकरण के प्रति भारत की प्रतिबद्धता की पुष्टि करते हुए कहा कि इस वर्ष के आईएफएफआई में 40 उल्लेखनीय महिला फिल्म निर्माताओं की फिल्में शामिल होंगी। उन्होंने कहा, उनकी प्रतिभा, रचनात्मकता एवं उनके अद्वितीय परिप्रेक्ष्य इस उत्सव को विविध कथनों और कथाओं को सामने लाने का समारोह बनेंगे। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने ‘सबका साथ, सबका विकास’ के मंत्र के माध्यम से एक समावेशी और सुगम्य भारत के निर्माण पर लगातार जोर दिया है। प्रधानमंत्री के दृष्टिकोण में एक और आयाम जोड़ते हुए, जोर दिया कि आईएफएफआई समावेशिता को एक मार्गदर्शक सिद्धांत बनाकर ‘सबका मनोरंजन’ यानी ‘सभी के लिए मनोरंजन’ को कायम रख रहा है। उन्होंने कहा, इस वर्ष के उत्सव के सभी स्थल दिव्यांगों के लिए सुविधाओं से सुसज्जित होंगे। दृष्टि और श्रवण बाधित प्रतिनिधियों के लिए एम्बेडेड ऑडियो विवरण और सांकेतिक भाषा प्रावधानों के साथ चार अतिरिक्त विशेष स्क्रीनिंग होंगी।
मीडिया और मनोरंजन क्षेत्र को बढ़ावा देने की पहल
केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने भारत में मीडिया और मनोरंजन क्षेत्र को बढ़ावा देने के लिए हाल के दिनों में भारत सरकार द्वारा उठाए गए कई पहलों की भी चर्चा की। साथ ही कहा, हाल ही में, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में, सिनेमैटोग्राफ (संशोधन) विधेयक, 2023 को लोकसभा और राज्यसभा दोनों से मंजूरी मिली। यह कानून न केवल कानूनी ढांचे को व्यापक बनाता है, अपना ध्यान सेंसरशिप से परे स्थानांतरित करके कॉपीराइट सुरक्षा को शामिल करता है, बल्कि चोरी के खिलाफ कठोर उपाय भी पेश करता है।
सिनेमा की शक्ति अविश्वसनीय है : अनुराग ठाकुर
केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने भारत के सफल चंद्रयान-3 मिशन को कला के दूरदर्शी कार्यों द्वारा प्रस्तुत की गई वैज्ञानिक संभावनाओं से जोड़ते हुए कहा कि जब अंतरिक्ष संगठनों की कल्पना तक नहीं की गई थी, उससे बहुत पहले 1902 में कला के एक उल्लेखनीय दूरदर्शी कार्य और जॉर्ज मेलियेज़ की एक फ्रांसीसी फिल्म अ ट्रिप टू द मून ने लोगों के मन में वैज्ञानिक संभावनाओ और प्रगति के बीज बोए थे। उन्होंने कहा, सिनेमा की शक्ति अविश्वसनीय है और यह अद्भुत है कि कैसे ये आइडिया हमारी दुनिया को आकार देते हैं।
फिल्म बाजार के 17वें संस्करण का उद्घाटन किया
केन्द्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग सिंह ठाकुर ने दक्षिण एशिया के सबसे बड़े फिल्म बाजार का उद्घाटन भी किया। इस मौके पर कहा कि फिल्म बाजार, जानकारी के हलचल भरे बाजार की तरह, दुनिया भर के फिल्म निर्माताओं, प्रोड्यूसरों और कहानीकारों के लिए एक स्वर्ग है। उन्होंने कहा, यह सृजनात्मकता और व्यापार, विचारों और प्रेरणाओं का संगम है जो इस फलते-फूलते सिनेमाई बाजार के आधार का निर्माण करता है।
इस अवसर पर ठाकुर ने कहा कि भारतीय मीडिया और मनोरंजन उद्योग को 20 प्रतिशत की वार्षिक वृद्धि दर के साथ दुनिया में पांचवां सबसे बड़ा और विश्वव्यापी उद्योग माना जाता है। अपने 17वें वर्ष में, फिल्म बाजार आईएफएफआई का एक अपरिहार्य आधार बन गया है, जो सीमाओं से आगे बढ़कर एशिया के सबसे बड़े फिल्म बाजारों में से एक बन चुका है।
केन्द्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा कि इस वर्ष, फिल्म बाजार के लिए फिल्मों का चयन फिक्शन, डॉक्यू-शॉर्ट्स, डॉक्यूमेंट्रीज, हॉरर फिल्मों और यहां तक कि एक एनीमेटेड फिल्मों के काल्पनिक कथानक के विविध मिश्रण को दर्शाता है जो प्रवासी, पितृसत्ता, शहरी चिंता, अत्यधिक गरीबी, जलवायु संकट, राष्ट्रवाद, खेल और फिटनेस से जुड़े सार्वभौमिक विषयों से संबंधित है। फिल्म बाज़ार भारत, बांग्लादेश, श्रीलंका, अमेरिका, ब्रिटेन, सिंगापुर, जर्मनी, फ्रांस, पोलैंड, लक्ज़मबर्ग और इज़राइल के को-प्रोडक्शन बाजार परियोजनाओं के विभिन्न हिस्सों के आधिकारिक चयन को प्रदर्शित करता है। चयनित फिल्म निर्माता ओपन पिच पर अंतर्राष्ट्रीय और भारतीय निर्माताओं, वितरकों, फेस्टिवल प्रोग्रामर्स, फाइनेंसरों और बिक्री एजेंटों के सामने अपनी परियोजनाएं पेश करेंगे।