–यात्री टे्रनें बंद, मालगाडिय़ों ने संभाला मोर्चा, बनाया रिकार्ड
–दूर जिलों तक खाद्यान्न पहुंचाने केे लिए की बड़ी पहल
–एक दिन में कर दी 112 रेकों में खाद्यान्न की लदाई
–22 दिन में 4.58 मिलियन टन खाद्यान्न की ढुलाई की
(खुशबू पाण्डेय)
नई दिल्ली/ टीम डिजिटल : कोविड-19 के फैलाव को रोकने के लिए देशव्यापी लॉकडाउन के दौरान आपके घरों की रसोईयों में सामान्य तौर पर खाना पकता रहे, इसके लिए भारतीय रेलवे ने अपनी स्पीड तेज कर दी है। कोरोना के चलते सभी यात्री ट्रेनें 3 मई तक पूरी तरह से बंद हैं, जबकि मालगाडिय़ों ने मोर्चा संभाल लिया है। कोरोना के खिलाफ छिड़ी जंग में मालगाड़ी ने एक दिन में 112 रेकों ( 3.13 लाख टन के बराबर), खाद्यान्न की लदाई कर दी। रेलवे के इतिहास में यह सबसे बड़ा रिकॉर्ड भी है। इसमें ज्यादातर सामान किचन से ही जुड़ा है। मकसद साफ है कि
देशभर में सभी स्थानों पर खाद्यान्न सामग्री जल्दी और समय पर पहुंच जाए। इसके अलावा भारतीय रेलवे ने एक अप्रैल से लेकर 22 अप्रैल तक कुल 4.58 मिलियन टन खाद्यान्न की लदाई और ढुलाई की, जबकि पिछले वर्ष इसी अवधि के दौरान 1.82 मिलियन टन की लदाई व ढुलाई की गई थी।
भारतीय रेलवे ने कोविड-19 के कारण हुए देशव्यापी लॉकडाउन के दौरान अपनी माल ढुलाई सेवाओं के माध्यम से खाद्यान्न जैसे आवश्यक वस्तुओं की उपलब्धता सुनिश्चित करने की दिशा में लगातार सभी प्रयास कर रहा है। साथ ही यह सुनिश्चित करने के लिए कि भारत के सभी घरों की रसोईयों में सामान्य तौर पर खाना पकता रहे। इसके तहत रेलवे ने 22 अप्रैल को एक ही दिन में 112 रेकों में 3.13 लाख टन के बराबर खाद्यान की लदाई का रिकार्ड बनाया। जबकि खाद्यान्न लदाई का पिछला रिकॉर्ड 9 अप्रैल को 92 रेकों (2.57 लाख टन) और 14 अप्रैल तथा 18 अप्रैल को 89 रेकों (2.49 लाख टन) का था।
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रेलवे प्रवक्ता के मुताबिक भारतीय रेलवे ने एक अप्रैल से लेकर 22 अप्रैल तक कुल 4.58 मिलियन टन खाद्यान्न की लदाई और ढुलाई की, जबकि पिछले वर्ष इसी अवधि के दौरान 1.82 मिलियन टन की लदाई व ढुलाई की गई थी।
रेल मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी के यह सुनिश्चित करने का प्रयास किया जा रहा है कि राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन के दौरान खाद्यान जैसे कृषि उत्पादों की समय पर लदाई की जाए और उसकी समय पर आपूर्ति सुनिश्चित की जाए। लॉकडाउन अवधि के दौरान, इन आवश्यक वस्तुओं की लदाई, ढुलाई और उतराई पूरे जोरों पर है। इस दौरान ज्यादातर खाद्यान्न चूंकि कृषि मंत्रालय से जुड़ा है, इसलिए रेलवे कृषि मंत्रालय के साथ नजदीकी सहयोग को भी बनाए रखा है।